🌤️ दिन – रविवार
🌤️ विक्रम संवत – 2080 (गुजरात – 2079)
🌤️ शक संवत -1945
🌤️ अयन – दक्षिणायन
🌤️ ऋतु – शरद ॠतु
🌤️ मास – आश्विन (गुजरात एवं महाराष्ट्र अनुसार भाद्रपद)
🌤️ पक्ष – कृष्ण
🌤️ तिथि – नवमी सुबह 10:12 तक तत्पश्चात दशमी
🌤️ नक्षत्र – पुष्य 09 अक्टूबर रात्रि 02:45 तक तत्पश्चात अश्लेशा
🌤️ योग -सिद्ध पूर्ण रात्रि तक
🌤️ राहुकाल – 16:18 से शाम 17:48 तक
🌞 सूर्योदय-06:02
🌤️ सूर्यास्त- 17:46
👉 दिशाशूल- पश्चिम दिशा में
🚩 व्रत पर्व विवरण – दशमी का श्राद्ध,रविपुष्यामृत योग पुण्य काल सूर्योदय से रात्रि 02:45 (09 अक्टूबर 02:45 AM) तक
💥 विशेष – नवमी को लौकी खाना गोमांस के समान त्याज्य है।(ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
💥 रविवार के दिन स्त्री-सहवास तथा तिल का तेल खाना और लगाना निषिद्ध है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-38)
💥 रविवार के दिन मसूर की दाल, अदरक और लाल रंग का साग नहीं खाना चाहिए।(ब्रह्मवैवर्त पुराण, श्रीकृष्ण खंडः 75.90)
💥 रविवार के दिन काँसे के पात्र में भोजन नहीं करना चाहिए।(ब्रह्मवैवर्त पुराण, श्रीकृष्ण खंडः 75)
💥 स्कंद पुराण के अनुसार रविवार के दिन बिल्ववृक्ष का पूजन करना चाहिए। इससे ब्रह्महत्या आदि महापाप भी नष्ट हो जाते हैं।
🌷 इससे आपका मन लगने लगेगा 🌷
➡ यदि दुकान अथवा व्यवसाय-स्थल पर आपका मन नहीं लगता है तो इसके लिए आप जिस स्थान पर बैठते हैं वहाँ थोडा-सा कपूर जलायें, अपनी पसंद के पुष्प रखें और स्वस्तिक या ॐकार को अपलक नेत्रों से देखते हुए कम-से-कम ५ – ७ बार ॐकार का दीर्घ उच्चारण करें |
➡ अपने पीछे दीवार पर ऊपर ऐसा चित्र लगायें जिसमें प्राकृतिक सौंदर्य हो, ऊँचे –ऊँचे पहाड़ हों परंतु वे नुकीले न हों और न ही उस चित्र में जल हो अथवा यथायोग्य किसी स्थान पर आत्मज्ञानी महापुरुषों, देवी-देवताओं के चित्र लगायें | इससे आपका मन लगने लगेगा |
🌷 पितृ पक्ष 🌷
🚩 अभी पितृ पक्ष चल रहा है | अपने घर के लोग जो गुजर गये हैं | उनकी आत्मा को शांति देने के लिए इतना जरूर करें कि अब सर्व पितृ अमावस्या आयेगी, (14 अक्टूबर 2023 शनिवार को ) उस दिन गीता का 7 अध्याय पाठ करें, सूर्य भगवान के सामने जल और अन्न ले जाकर प्रार्थना करें कि: “हे सूर्यदेव, यमराज आपके पुत्र हैं, हमारे घर के जो भी गुजर गये उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें, आज के गीता के पाठ का पुण्य उनके लिए दीजिये” पितृ गण राजी होंगे, घर में अच्छी संतान जन्म लेगी यह सर्व पितृ अमावस्या के दिन जरूर करें।
🚩 उन्नतिकारक कुंजियाँ 🌷
👉🏻 हल्का भोजन करने से शरीर में स्थूलता कम होती है, मन भी सूक्ष्म होता है | सूक्ष्म मन प्रसन्नता का द्योतक है |
👉🏻 भृकुटी में तिलक करने से ज्ञानशक्ति का विकास होता है |
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